बेहतरीन पहल: साल्वेशन फाउंडेशन नये साल में 12 'बेहद गरीब- बेसहारा मरीजों' का करेगा मुफ़्त ऑपरेशन
जौनपुर
नये साल में नया अंदाज़: वर्ष 2026 के पहले महीने जनवरी से बेहद गरीब मरीजों के मुफ़्त ऑपरेशन की शुरुआत साल्वेशन अस्पताल में होगीl साल में 12 यानी हर महीने एक ऑपरेशन बग़ैर किसी चार्ज के होगाl भर्ती ऐसे मरीज की दवा, भोजन समेत पूरा खर्च साल्वेशन फाउंडेशन वहन करेगाl
साल्वेशन हास्पिटल के प्रबन्ध निदेशकों प्रतीक श्रीवास्तव, डॉ विवेक श्रीवास्तव ने फाउंडेशन के चेयरमैन प्रेम चंद्र श्रीवास्तव के निर्देश और कमेटी के सदस्यों की सलाह पर समाजसेवा की बेहतरीन पहल जनवरी 2026 से शुरू की हैl इसके तहत साल में कुल 12 यानी हर महीने एक बेहद गरीब व बेसहारा मरीज का मुफ़्त ऑपरेशन व इलाज होगाl मरीज भर्ती होने पर उसकी दवा, बेड चार्ज, भोजन आदि सारे खर्च फाउंडेशन उठाएगाl ऐसे मरीजों का हाल, पता दिये गए उसके दस्तावेजों की समूची पड़ताल ट्रस्ट के तीन सदस्यों प्रतीक श्रीवास्तव, नितिन सिंह व एस कैलाश की कोर कमेटी करेगीl
डॉ विवेक कुमार श्रीवास्तव
इस नई पहल का दिलचस्प पहलू: इसे समझने के लिए एक संक्षिप्त सत्य घटना वाली कहानी को जानना जरूरी हैl कथानक यूँ है कि -एक दिन अस्पताल परिसर में लगे सी सी टीवी पर चिकित्सक डॉ विवेक की माँ श्रीमती सरोज श्रीवास्तव की नजर उस संभ्रांत महिला पर पड़ी जो अपने वृद्ध पति को दिखाने डॉक्टर के पास परेशान हाल स्थिति में कतार में लगी थीl वह अच्छे घर की थी, उसके तीन बेटे होने के बावजूद यह दम्पति बेसहारा थाl उनके पास कोई हेल्थ कार्ड भी नहीं थाl कुछ पैसे भी उस महिला की साडी़ के पल्लू में बंधे थे, जिसे वह बार- बार टटोल रही थीl कुछ अलग स्थिति देखकर उन्होंने अपने बेटे को फोन करके उस महिला की जानकारी लेने के बाद कहा कि उसके पति का इलाज़ हर संभव मुफ़्त कर दोl दरअसल श्रीमती सरोज की निगाह दोपहर एक बजे के बाद सी सी टीवी पर इसलिए लगी रहती है ताकि बेटे से कह सकें कि वह भोजन कर ले, क्योंकि डॉ विवेक ऐसी भूल औसतन रोज करते हैंl वह परेशान हाल सवर्ण दम्पति जौनपुर के ही जफ़राबाद क्षेत्र का निवासी और उनके तीन युवा पुत्र बताए गए, लेकिन तीनों अपने अभिभावकों पर पैसे खर्च करना तो दूर उनके इलाज़ में अस्पताल तक भी साथ नहीं आयेl इस तरह 'नई पहल' के लिए यह सत्य घटना प्रमुख कारण बन गईl
प्रबंधक प्रतीक श्रीवास्तव
यदि अधिक आवेदन आ गए तो: ऐसे गरीब- बेसहारा मरीजों जिनके लिए पथरी, ओबरी, हाइड्रोशील आदि समेत जो भी सामान्य ऑपरेशन होने जरूरी हैं, लेकिन उनके पास हेल्थ या आयुष्मान जैसे कार्ड और पैसे भी नहीं हैं और उनके बेटी -बेटे भी अपनी दुनिया में मस्त हैं और वे बुजुर्गों को भागवान के सहारे छोड़ दिये हैंl इसी तरह के लोगों के लिए साल्वेशन फाउंडेशन ने यह पहल शुरू की हैl यदि ऐसे आवेदकों की संख्या बढ़ जाती है और उन्हें भी जल्दी इलाज़ की जरूरत है तब फाउंडेशन की कमेटी स्वयंसेवी संस्थाओं के जरिये उनके इलाज के लिए कुछ बेसिक रकम जुटाने का प्रयास करेगी ताकि अस्पताल प्रबन्धन को जरूरी खर्च में मदद मिल सकेl इस प्रकार पूर्वांचल के मेदांता रूपी साल्वेशन फाउंडेशन/ अस्पताल ने नये साल से समाजसेवा को नया अंदाज़ दिया हैl
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